नौ को बिजली कर्मी करेंगे व्यापक विरोध प्रदर्शन
लखनऊ। विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति ने कहा है कि विद्युत नियामक आयोग पर दबाव डालकर पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम एवं दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम के निजीकरण के असंवैधानिक दस्तावेज का अनुमोदन कराया गया तो इसकी तीखी प्रतिक्रिया होगी।
पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम एवं दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम के निजीकरण के विरोध में देश के 27 लाख बिजली कर्मी आगामी बुधवार को एक दिन की सांकेतिक हड़ताल कर रहे हैं। केन्द्र सरकार और राज्य सरकारों की निजीकरण की नीति के विरोध में देश के 20 करोड़ से अधिक कर्मचारी और मजदूर राष्ट्रव्यापी हड़ताल कर रहे हैं। उप्र के एक लाख बिजली कर्मचारी, संविदा कर्मी, जूनियर इंजीनियर और अभियन्ता 09 जुलाई को राष्ट्रव्यापी हड़ताल के समर्थन में पूरे दिन व्यापक विरोध प्रदर्शन करेंगे।
विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति ,उप्र के केंद्रीय पदाधिकारियों संजय सिंह चौहान,जितेन्द्र सिंह गुर्जर,गिरीश पांडेय, महेन्द्र राय, पी.के.दीक्षित, सुहैल आबिद, चंद्र भूषण उपाध्याय, विवेक सिंह, आर वाई शुक्ला, छोटेलाल दीक्षित, आर बी सिंह, ने बताया कि आज मुख्य सचिव, अपर मुख्य सचिव ऊर्जा, पावर कारपोरेशन के चेयरमैन, प्रबन्ध निदेशक, निदेशक वित्त के अचानक विद्युत नियामक आयोग पहुंचने और नियामक आयोग के अध्यक्ष के साथ मीटिंग के समाचार के वायरल होने से विद्युत कर्मियों में आक्रोश व्याप्त हो गया है।
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