चुनाव आयोग से मिला तृणमूल प्रतिनिधिमंडल
मतदाता सूची सहित विभिन्न मुद्दों को उठाया
नई दिल्ली। चुनाव आयोग ने देश में चुनावी प्रक्रिया को मजबूत करने और राजनीतिक दलों के साथ संवाद बढ़ाने की पहल के तहत सोमवार को तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात की। मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार, चुनाव आयुक्त डॉ. सुखबीर सिंह संधू और डॉ. विवेक जोशी से मुलाकात करने वाले प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व टीएमसी नेता और पश्चिम बंगाल सरकार में मंत्री चंद्रिमा भट्टाचार्य ने की।
प्रतिनिधिमंडल में सांसद कल्याण बनर्जी, राज्य सरकार में मंत्री फिरहाद हकीम, अरूप विश्वास और सांसद प्रकाश चिक बड़ाईक शामिल थे। चुनाव आयोग से मिले तृणमूल कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने मतदाता सूची, केंद्रीय बलों की भूमिका और राज्यपाल की गतिविधियों सहित कई अहम मुद्दों पर चिंता जताई। बैठक सकारात्मक माहौल में हुई और पार्टी ने आयोग पर विश्वास व्यक्त किया । बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत में प्रतिनिधिमंडल में शामिल वरिष्ठ पार्टी नेता कल्याण बनर्जी ने कहा कि हम चुनाव आयोग और सुप्रीम कोर्ट पर विश्वास करते हैं और उम्मीद करते हैं कि आयोग निष्पक्षता बनाए रखेगा।
उन्होंने मांग की कि बिना राजनीतिक दलों को पूर्व सूचना दिए किसी भी मतदाता को तीन या चार महीने की अवधि के दौरान मतदाता सूची में शामिल न किया जाए। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि मतदाता सूची का आधार वर्ष 2003 के बजाय 2024 होना चाहिए। आयोग ने इस पर विचार करने का आश्वासन दिया है। फिरहाद हाकिम ने कहा कि हमने केंद्रीय बलों के कई बार मतदान केंद्रों पर जाकर मतदाताओं को प्रभावित करने की कोशिश का मुद्दा उठाया और मांग की कि उनके साथ राज्य पुलिस की भी उपस्थिति आवश्यक है। इसके अलावा, तृणमूल ने चुनावों के दौरान उपराज्यपाल की गतिविधियों, आधिकारिक कार्यक्रमों में राजनीतिक भाषण देने और आचार संहिता के उल्लंघन जैसे विषयों को भी आयोग के समक्ष रखा।
आयोग ने सभी बिंदुओं पर विचार करने और उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया है।चुनाव आयोग का कहना है कि इन बैठकों के पीछे चुनाव आयोग का उद्देश्य है कि राजनीतिक दलों की चुनाव प्रक्रिया से संबंधित चिंताओं और सुझावों सुनकर, लोकतांत्रिक प्रक्रिया को और पारदर्शी बनाने का है। चुनाव आयोग इससे पहले भी राष्ट्रीय दलों से विचार-विमर्श करता रहा है।
टिप्पणियां