उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक को सौंपा मांग पत्र
पीपीपी मॉडल की जगह सरकारी मेडिकल कॉलेज निर्माण की मांग
डिस्ट्रिक मिनरल फंड से हो सरकारी मेडिकल कॉलेज का निर्माण क्रशर उद्योग से सरकार को मिलता है करोड़ों रुपए का राजस्व
महोबा। सुप्रीम कोर्ट की अधिवक्ता सीमा पटनाहा ने उपमुख्यमंत्री से मिलकर जनपद में पीपीपी मॉडल की जगह सरकारी मेडिकल कॉलेज और ट्रॉमा सेंटर का निर्माण डिस्ट्रिक मिनरल फंड से करवाए जाने का मांग पत्र सौंपा है।सुप्रीम कोर्ट की अधिवक्ता सीमा पटनाहा ने गुरुवार को प्रदेश के उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक से मुलाकात करते हुए मांग पत्र सौंप बताया कि जनपद में ट्रामा सेंटर एवं मेडिकल कॉलेज स्वीकृत हुआ है, जिसे पीपीपी मॉडल पर बनाया जाना है। लेकिन धरातल पर अभी कोई भी कार्य नहीं दिखाई दे रहे हैं। पीपीपी मॉडल के मेडिकल कॉलेज के स्थान पर जनपद में सरकारी मेडिकल कॉलेज बनाया जाए।
यहां के क्रशर उद्योग से करोड़ों रुपए का राजस्व सरकार के खजाने में जमा होता है। जनपद की सीमा से दो राष्ट्रीय राजमार्ग गुजरे हुए हैं। जिन पर आए दिन सड़क हादसे होते रहते हैं और गंभीर मरीजों को घायल अवस्था में मेडिकल कॉलेज कनपुर या झांसी के लिए रेफर किया जाता है। जिनकी दूरी मुख्यालय से लगभग 150 से 200 किलोमीटर के बीच पड़ती है। ऐसे में गंभीर रूप से घायल कुछ मरीज मेडिकल कॉलेज पहुंचने से पहले ही रास्ते में अपना दम तोड़ देते हैं। उत्तर प्रदेश के सबसे गरीब और पिछड़े जनपदों में शुमार महोबा में मेडिकल सुविधाएं बढ़ाने हेतु पीपीपी मॉडल की जगह डिस्ट्रिक मिनिरल फंड से सरकारी मेडिकल कॉलेज निर्माण कराया जाने की मांग की है।