मौलाना अब्बास को याद कर निकाला मातमी जुलूस

मोहर्रम पर सरदारी खेड़ा से बांग्ला बाजार कर्बला तक जुलूस में सैकड़ों ने लिया हिस्सा 

लखनऊ। मोहर्रम के मौके पर रविवार सरदारी खेड़ा से बांग्ला बाजार कर्बला तक मातमी जुलूस निकाला गया। इस जुलूस में सैकड़ों श्रद्धालुओं ने हिस्सा लिया। यह जुलूस मौलाना अब्बास की याद में गमी के रूप में मनाया गया।

जुलूस में सिया समुदाय के लोगों ने बिना ढोल-बाजों के मातम किया। वहीं सुन्नी समुदाय के लोगों ने ढोल-बाजे बजाकर अपनी श्रद्धा व्यक्त की। मोहर्रम का यह मातम 9 जून से शुरू हुआ था, जिसका समापन 6 जुलाई को हुआ। जुलूस में ताजिया भी निकाले गए। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए रास्ते में जगह-जगह पानी और शरबत की व्यवस्था की गई थी। 

जुलूस में शामिल मोहम्मद शमी, हासिम, मोहम्मद सोनू, मोहम्मद शाहरुख और अनीश रिजवान ने बताया कि वे मौलाना अब्बास की शहादत को याद करते हैं। उन्होंने कहा कि हजरत हुसैन की याद में वे खुद को चोट पहुंचाते हैं। उनका मानना है कि जब हजरत हुसैन पर संकट आया था, उस समय वे उनके साथ नहीं थे। इसलिए वे इस तरह मातम करते हैं। मोहर्रम का यह मातम पूरी सादगी के साथ मनाया गया।

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