यूडीएसपी से डिजिटल सर्विलान्स करने वाला पहला राज्य बना यूपी
वैक्सीन से रोके जा सकने वाली छह बीमारियों की हो सकेगी रियल टाइम निगरानी
लखनऊ। यूनीफाइड डिजीज सर्विलान्स पोर्टल पर वैक्सीन प्रिवेन्टेबिल डिजीजेस का डिजिटल सर्विलान्स शुरू करेगी। यह पहल,रीयल टाइम केस रिपोर्टिंग,सटीक और विश्वसनीय डेटा संग्रह को सक्षम करेगी, जिससे रोगों व प्रकोपों का जल्द पता लगाया जा सके और तेज़ी से प्रभावी रणनीति तैयार कर क्रियान्वयन किया जा सके। ये जानकारी स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव पार्थ सारथी सेन शर्मा ने कहा ने दी।
उन्होंने बताया कि वैक्सीन से रोके जा सकने वाली 6 बीमारियों –पोलियोमाइलाइटिस (एक्यूट प्लेसीड पैरालिसिस), खसरा, रूबेला, डिप्थीरिया, पर्टुसिस और टिटनेस के लिए केस बेस्ड सर्विलान्स, विश्व स्वास्थ्य संगठन के राष्ट्रीय सार्वजनिक स्वास्थ्य सहयोग नेटवर्क के सहयोग से सार्वभौमिक टीकाकरण कार्यक्रम के तहत चल रही है। अब पहली बार इस निगरानी को यूडीएसपी में इंटीग्रेट किया जाएगा जो प्रदेश सरकार द्वारा कोविड-19 के बाद विकसित एक राज्य के स्वामित्व वाला डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म है, जिसका उद्देश्य राज्य के लिए एकीकृत निगरानी प्रणाली के रूप में कार्य करना है।
स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव पार्थ सारथी सेन शर्मा ने कहा,"हमारे यूनीफाइड डिजीज सर्विलान्स पोर्टल (यूडीएसपी) के माध्यम से टीकों से रोकी जा सकने वाले रोगों की डिजिटल निगरानी (सर्विलान्स) से जिलों और राज्य के बीच तेज़ी से संवाद संभव हो सकेगा, जिससे इन रोगों की शीघ्र पहचान और पब्लिक हेल्थ रिस्पांस की गुणवत्ता में सुधार हो सकेगा।
इससे हमें समय पर, सटीक डेटा मिलेगा, जो हमारे टीकाकरण कार्यक्रमों की योजना और निगरानी की बेहतर योजना तैयार कर निगरानी की जा सकेगी, साथ ही टीकाकरण कवरेज में सुधार के लिए त्वरित कार्यवाही की जा सकेगी। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की मिशन निदेशक डॉ. पिंकी जोवेल ने कहा कि,एनएचएम के शुरू होने के बाद "टीकाकरण के परिणामों में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। हम यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि कोई भी बच्चा टीकाकरण से वंचित न रह जाए।
राज्य टीकाकरण अधिकारी डॉ. अजय गुप्ता ने कहा, "इस साल 24 अप्रैल से शुरू हुए विश्व टीकाकरण सप्ताह के तहत हम पूरे प्रदेश में स्कूल-आधारित टीडी टीकाकरण अभियान चला रहे हैं। सरकारी और निजी दोनों स्कूलों में कक्षा पांच और कक्षा 10 के छात्रों को उनके स्कूलों में मुफ़्त टीडी टीके लगाए जा रहे हैं।
एनएचएम महाप्रबंधक डॉ. मनोज शुकुल ने कहा, "हम विश्व टीकाकरण सप्ताह के दौरान खसरा-रूबेला (एमआर) उन्मूलन के लिए विशेष अभियान भी चला रहे हैं। मार्च और अप्रैल 2025 में हुए राज्यव्यापी सर्वेक्षण में 1.7 लाख से अधिक बच्चों की पहचान की गई, जिन्होंने एमआर 1/एमआर 2 वैक्सीन की अपनी निर्धारित खुराक नहीं ली है।
राज्य निगरानी अधिकारी डॉ. विकासेंदु अग्रवाल ने कहा, "हमने मई 2023 में यूडीएसपी लॉन्च किया, जो देश का पहला राज्य है जिसके पास 12 अधिसूचित बीमारियों की निगरानी के लिए अपना डिजिटल निगरानी प्लेटफार्म है। अब तक, इस पोर्टल पर 60 लाख से अधिक टेस्ट रिपोर्ट दर्ज किए गए हैं, और इसने हमें डेंगू जैसी बीमारियों की रोकथाम एवं नियंत्रित करने के लिए सुधारात्मक कार्रवाई करने और निगरानी करने की अनुमति दी है।
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