गैस राहत अस्पतालों के और बेहतर संचालन के प्रयास किए जाएं: मंत्री डॉ. शाह

मंत्री डॉ. शाह ने की भोपाल गैस त्रासदी राहत एवं पुनर्वास विभाग की समीक्षा

गैस राहत अस्पतालों के और बेहतर संचालन के प्रयास किए जाएं: मंत्री डॉ. शाह

भोपाल। लोक परिसम्पत्ति प्रबंधन तथा भोपाल गैस त्रासदी राहत एवं पुनर्वास मंत्री डॉ. विजय शाह ने गुरुवार को मंत्रालय में भोपाल गैस त्रासदी राहत एवं पुनर्वास विभाग के कार्यों एवं गतिविधियों की समीक्षा की। इस दौरान उन्होंने कहा कि विभाग के अधीन गैस राहत के सभी छह अस्पतालों को और अधिक बेहतर संचालन के लिये व्यापक प्रयास किये जाएं। इसके लिये अन्य शासकीय अस्पतालों से भी समन्वय कर उनकी विशेषज्ञ सेवाएं ली जाएं। बैठक में अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य एवं भोपाल गैस त्रासदी राहत एवं पुनर्वास विभाग मो. सुलेमान, संचालक गैस राहत राकेश श्रीवास्तव, संजना जैन सहित अन्य सभी विभागीय अधिकारी उपस्थित थे। बैठक में बताया गया कि विभाग द्वारा गैस प्रभावितों को मुख्यत: चिकित्सा सुविधा, सामाजिक संबल सहित अन्य जरूरी सुविधाएँ देने के प्रयास किये जाते हैं। इन प्रभावितों के आर्थिक स्वाबलंबन के प्रयास भी विभाग द्वारा किये जा रहे हैं। गैस प्रभावितों के आर्थिक स्वाबलंबन के लिये मंत्री डॉ. शाह ने निर्देश दिये कि गैस प्रभावित परिवारों के बच्चों को पैरामेडिकल एवं नर्सिंग कोर्सेस करायें जाए, इससे उन्हें रोजगार भी मिलेगा और वे स्वाबलंबी बन सकेंगे। बताया गया कि यूनियन कार्बाइड परिसर में रासायनिक कचरे के निष्पादन की कार्यवाही प्रगति पर है। कचरा निष्पादन के लिये भारत सरकार से विभाग को 126 करोड़ रुपये मिलने है। बैठक में यूनियन कार्बाइड परिसर से रासायनिक कचरे के निष्पादन के उपरांत स्वच्छ भूमि, भोपाल कलेक्टर एवं लोक परिसम्पत्ति प्रबंधन विभाग को देने पर भी विचार किया गया। बताया गया कि विभाग के पास कुल 664 बिस्तरों की संख्या वाले 6 चिकित्सालय है। जिसमें गैस प्रभावितों का ही इलाज किया जाता है। नौ डे-केयर यूनिट एवं नौ आयुष औषधालय भी है। अल्ट्रामार्डन उपकरण भी है, इनके जरिये कुल 164 प्रकार की पैथोलॉजी जांचे की जाती हैं।

लोक परिसम्पत्तियों के त्वरित प्रबंधन के लिये विधिक सलाहकार भी रखे जायें
मंत्री डॉ. शाह ने लोक परिसम्पत्ति प्रबंधन विभाग के कार्यों की भी समीक्षा की। बैठक में मंत्री डॉ. शाह ने निर्देश दिये कि लोक परिसम्पत्तियों के त्वरित प्रबंधन के लिये विधिक सलाहकार नियुक्त किये जाएं, जो किसी शासकीय सम्पत्ति के कानूनी पक्षों को बेहतर तरीके से रखें। इससे सम्पत्ति के प्रबंधन में प्रक्रियागत तेजी आयेगी। बैठक में विभाग के प्रमुख सचिव अनिरूद्ध मुखर्जी सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे। प्रमुख सचिव ने बताया कि पिछले तीन वर्षों में विभाग ने 67 परिसम्पत्तियों को प्रबंधन किया है। वित्त वर्ष 2023-24 में 398 करोड़ रूपये का राजस्व प्राप्त किया है। अगले 100 दिनों में विभाग ने 102 करोड़ रुपये राजस्व प्राप्त करने का लक्ष्य रखा है। जारी वित्त वर्ष में 129 करोड़ रुपये की परिसम्पत्तियों का निर्वर्तन प्रस्ताव प्रक्रिया में है। वित्त वर्ष 2024-25 की विभागीय कार्ययोजना भी तैयार कर ली गई है। विभाग के अधीन कुल 655 परिसम्पत्तियां है इसमें 471 जिलों में मौजूद है और 184 विभिन्न विभागों की है। बैठक में जिला प्रोत्साहन योजना के तहत विभाग द्वारा की गई प्रमुख निर्वर्तन कार्यवाहियों के बारे में भी जानकारी दी गई।

 

 

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