पसमांदा समाज ने किया शांतिपूर्ण प्रदर्शन की अपील
लखनऊ। पसमांदा मुस्लिम समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मंत्री अनीस मंसूरी ने सोमवार को एक महत्वपूर्ण बयान जारी करते हुए वक्फ संशोधन अधिनियम के खिलाफ देशभर के पसमांदा मुस्लिम समाज के नेताओं से मंगलवार को शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन करने का आह्वान किया है।
मंसूरी ने कहा कि संसदीय समिति द्वारा वक्फ संशोधन अधिनियम के मसले पर एकतरफा रिपोर्ट पेश की गई है,जिसे भाजपा के दबाव में तैयार किया गया है। समिति ने पसमांदा मुस्लिम समाज के नेताओं और देशभर के प्रबुद्ध मुस्लिम समाज के व्यक्तियों की राय को पूरी तरह से नकार दिया। यह अधिनियम पसमांदा समाज के लिए अत्यंत चिंताजनक है, क्योंकि इससे न केवल समाज के अधिकारों पर खतरा मंडरा रहा है, बल्कि यह लोकतांत्रिक मूल्यों की अवहेलना भी करता है।
अपने संदेश में अनीस मंसूरी ने पसमांदा मुस्लिम समाज के सभी नेताओं और सदस्यों से आग्रह किया कि वे 11 मार्च को अपने-अपने जिलों में काला फीता बांधकर विरोध दर्ज करें। साथ ही, वे अपनी तस्वीरें सोशल मीडिया पर साझा करें, ताकि विरोध का संदेश व्यापक स्तर पर फैल सके। इस दिन समाज के लोग जिलाधिकारी को ज्ञापन सौंपकर अपनी नाराजगी और विरोध दर्ज कराएंगे।
अनीस मंसूरी ने इस बात पर जोर दिया कि उनका विरोध शांतिपूर्ण और सभ्य तरीके से होना चाहिए। उन्होंने कहा, "हमारा यह विरोध किसी के खिलाफ नहीं है, बल्कि यह हमारे अधिकारों की रक्षा के लिए है। हम लोकतांत्रिक तरीके से अपनी मांगों को उठाना चाहते हैं और यह प्रदर्शन केवल एक तरीका है, ताकि हमारी आवाज़ सरकार तक पहुंचे।
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