प्लास्टिक प्रदूषण से एक मिनट में होती हैं दो मौतें : डॉ. सूर्यकान्त
लखनऊ। किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय के रेस्पिरेटरी मेडिसिन विभाग ने विश्व पर्यावरण दिवस के उपलक्ष्य में अपने विभाग में स्थित रोटरी रेस्पिरेटरी हर्बल पार्क में विभागाध्यक्ष डॉ.सूर्यकान्त की अध्यक्षता में 50 से अधिक औषधीय,फलदार एवं छायादार पौधों का रोपण कर पर्यावरण दिवस मनाया।
रेस्पिरेटरी मेडिसिन विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. सूर्यकान्त ने पर्यावरण संरक्षण जागरूकता कार्यक्रम में बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा चलाए जा रहे ‘‘ एक पेड़ मां के नाम ’’ अभियान को पुनः गति प्रदान की गई है। इस अभियान का उद्देश्य देशभर में हरित आवरण को बढ़ाना तथा जलवायु परिवर्तन जैसी गंभीर चुनौतियों का सामना करना है। उन्होंने प्रत्येक परिवार को इस अभियान से जुड़ने तथा पौधा रोपण के लिए प्रेरित किया। उन्होंने ख़ुद भी पत्नी प्रीति के साथ पौधारोपण किया,साथ ही यह भी कहा कि पेड़ लगाने के बाद उसका समुचित संरक्षण और देखभाल भी अनिवार्य है।
ऑर्गेनाइजेशन फॉर कंज़र्वेशन ऑफ एनवायरनमेंट एंड नेचर (ओशन) के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. सूर्यकान्त ने कहा कि यदि हम अपनी जीवनशैली में कुछ आदतों को सुधार लें, तो इस सुंदर धरती को बचाया जा सकता है। धरती हमारी मां है और हम इसकी संतान। उन्होंने बताया कि एक सामान्य प्लास्टिक बैग अपने वजन से 2000 गुना अधिक भार उठा सकता है, जिससे यह मानव जीवन की सुविधा का हिस्सा बन गया है। परंतु यही सुविधा आज मानव स्वास्थ्य, पर्यावरण और जीव-जंतुओं के जीवन के लिए संकट बन चुकी है। भारत में प्रति व्यक्ति प्रति वर्ष लगभग 11 किलोग्राम प्लास्टिक का उपयोग होता है, जबकि वैश्विक औसत 28 किलोग्राम है।
उन्होंने बताया प्लास्टिक धीरे-धीरे विषैले रसायन छोड़ता है, जो जल, वायु और मिट्टी को प्रदूषित करता है। इसकी विघटन प्रक्रिया में 500 से 1000 वर्ष तक लग सकते हैं। इसे जलाने पर भी यह जहरीली गैसें छोड़ता है, जिससे वायु प्रदूषण और अनेक बीमारियां उत्पन्न होती हैं। प्लास्टिक प्रदूषण से होने वाली बीमारियों के चलते प्रति मिनट दो लोगों की मृत्यु होती है।
इस कार्यक्रम में रोटरी क्लब ऑफ लखनऊ के पूर्व सचिव अशोक टंडन सहित विभाग से डॉ. संतोष कुमार, डॉ. अजय वर्मा, डॉ. दर्शन बजाज, डॉ. ज्योति बाजपेई, डॉ. अंकित कुमार, समस्त रेजिडेंट डॉक्टर्स, स्टाफ नर्स एवं स्वास्थ्य कर्मी उपस्थित रहे।
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