खाता न बही जेई अमित श्रीवास्तव जो कहें वही सही
ब्लोअर की गर्मी में सोकर जागे जेई अमित श्रीवास्तव बिना पूर्व सूचना के उपभोक्ताओं के घर से उतारे केबिल
सुल्तानपुर। बिजली विभाग के अधिकारी ब्लोअर की गर्मी में सोकर जब उठते हैं तो सीधे नारायणपुर, बैंक कॉलोनी आदि नगर से सटे मुहल्लों में जाकर उपभोक्ता को नोटिस दिए बिना केबल उतार रहे हैं।फिर अनियमित तरीके से उतारे गए केबल को जोड़ रहे हैं।
बताते चले जेई अमित श्रीवास्तव अपनी टीम के साथ नगर से सटे मोहल्लों में जाकर मीटर का निरीक्षण करते हैं। नगर से सटे मोहल्लों के अधिकतर लोग नौकरी पेशा लोग हैं जो सुबह अपने कार्य के लिए निकल जाते है। इन मोहल्लों में मीटर रीडर रीडिंग लेने सालों से नहीं आते है। जिसकी सूचना जेई अमित श्रीवास्तव आदि अधिकारी अच्छी तरह पता है फिर भी मीटर रीडर पर कोई कार्यवाही न कर नौकरी बिजनेस करने गए उपभोक्ताओं को बिना नोटिस या सूचना दिए उतार ले रहे केबल।
जेई अमित श्रीवास्तव से पूछा गया की क्या बिजली विभाग बिना नोटिस के उपभोक्ताओं की अनुपस्थिति में बिजली कनेक्शन काट सकता है? जेई ने कहा की मैं नोटिस नहीं दूंगा उपभोक्ता के कनेक्शन काटूंगा। जेई की वाणी से लग रहा है खाता न बही जेई साहब जो कहें वही सही।
सुल्तानपुर के बिजली विभाग में बिजली बिल को कैशबुक में अंकित करने और परमानेंट कनेक्शन काटने के नाम पर भारी घोटाला हुआ है। जिसमे सिर्फ कादीपुर में करीब 72 लाख रुपए के घोटाले की जानकारी होने के बाद पावर कॉर्पोरेशन के चेयरमैन ने इस मामले में पांच सदस्यीय ऑडिट टीम का गठन किया जो वर्ष 2017 से लेकर 2023 तक के बिलों की जांच करेगी। इस घोटाले की जांच का दायरा बढ़ाया जाता है तो बिजली विभाग के अधिकारी और कर्मचारियों पर घोटाले के कीचड़ का दाग मिलेगा। जो कई सालों से परमानेंट डिस्कनेक्शन (पीडी) के नाम पर बहुत बड़ा खेल कर रहे हैं। सूत्रों से पता चला है की सुल्तानपुर के नगरीय क्षेत्र में अधिकारियों और कर्मचारियों द्वारा परमानेंट डिस्कनेक्शन (पीडी) के रूप में भारी घोटाला किया गया है। अगर जिला प्रशासन इस घोटाले की जांच कराता है तो इस घोटाले के सूत्रधार में लंबे समय से जनपद के बिजली विभाग में कार्यरत जेई ही मिलेंगे।
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